Sunday, July 26, 2020

ज़ज्बात

कुछ ज़ज्बात होते है बिना पते के ख़त की तरह ।

लग जाए हाथ जिसके और जो समझ पाए ख़ुदा वही उसका

होता है।

किस्मत का खेल भी कहां कोई समझ पाया है ।

ज़ुदा हर किसी का नसीब एक दूसरे से होता है।

एक  ही सवाल को हल करने का तरीका हर किसी का

कहां एक सा होता है।


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